Desh Bhakti Geet in Hindi | सबसे शानदार और फेमस देशभक्ति गीत

Song desh bhakti geet in hindi: इस पोस्ट में हमने देश भक्ति गीत लिस्ट (Desh Bhakti Songs List) शेयर की है। इस पोस्ट में लोकप्रिय और अच्छे अच्छे देश भक्ति के गाने लिखे है।

आप इन देशभक्ति गीतों (Desh Bhakti Geet in Hindi) से हर देश भक्ति कार्यक्रम में अपनी Performance दे सकते हैं।

Desh Bhakti Geet List in Hindi (देशभक्ति  गीत लिस्ट इन हिंदी)

Desh Bhakti Song in Hindi

 

जहाँ डाल-डाल पर सोने की चिड़िया करती है बसेरा

वो भारत देश है मेरा

जहाँ सत्य, अहिंसा और धर्म का पग-पग लगता डेरा

वो भारत देश है मेरा

ये धरती वो जहाँ ऋषि मुनि जपते प्रभु नाम की माला

जहाँ हर बालक एक मोहन है और राधा हर एक बाला

जहाँ सूरज सबसे पहले आ कर डाले अपना फेरा

वो भारत देश है मेरा

अलबेलों की इस धरती के त्योहार भी हैं अलबेले

कहीं दीवाली की जगमग है कहीं हैं होली के मेले

जहाँ राग रंग और हँसी खुशी का चारों ओर है घेरा

वो भारत देश है मेरा

जब आसमान से बातें करते मंदिर और शिवाले

जहाँ किसी नगर में किसी द्वार पर कोई न ताला डाले

प्रेम की बंसी जहाँ बजाता है ये शाम सवेरा

वो भारत देश है मेरा

 

Saare Jahaa se Achhaa Lyrics

देश भक्ति गीत स्कूल में गाने के लिए (Desh Bhakti Geet in Hindi)

 

सारे जहाँ से अच्छा

हिंदुस्तान हमारा

हम बुलबुलें हैं उसकी

वो गुलसिताँ हमारा।

 

परबत वो सबसे ऊँचा

हमसाया आसमाँ का

वो संतरी हमारा

वो पासबाँ हमारा।

 

गोदी में खेलती हैं

जिसकी हज़ारों नदियाँ

गुलशन है जिनके दम से

रश्क-ए-जिनाँ हमारा।

 

मज़हब नहीं सिखाता

आपस में बैर रखना

हिंदी हैं हम वतन है

हिंदुस्तान हमारा।

 

Mere Desh ki Dharti Lyrics in Hindi)

मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती

मेरे देश की धरती

बैलों के गले में जब घुँघरू जीवन का राग सुनाते हैं

ग़म कोस दूर हो जाता है खुशियों के कंवल मुस्काते हैं

सुन के रहट की आवाज़ें यूँ लगे कहीं शहनाई बजे

आते ही मस्त बहारों के दुल्हन की तरह हर खेत सजे

मेरे देश की धरती सोना उगले उगले हीरे मोती

मेरे देश की धरती

जब चलते हैं इस धरती पे हल ममता अँगड़ाइयाँ लेती है

क्यों ना पूजें इस माटी को जो जीवन का सुख देती है

इस धरती पे जिसने जन्म लिया उसने ही पाया प्यार तेरा

यहाँ अपना पराया कोई नही हैं सब पे है माँ उपकार तेरा

मेरे देश की धरती सोना उगले उगले हीरे मोती

मेरे देश की धरती

ये बाग़ हैं गौतम नानक का खिलते हैं अमन के फूल यहाँ

गांधी, सुभाष, टैगोर, तिलक ऐसे हैं चमन के फूल यहाँ

रंग हरा हरिसिंह नलवे से रंग लाल है लाल बहादुर से

रंग बना बसंती भगतसिंह से रंग अमन का वीर जवाहर से

मेरे देश की धरती सोना उगले उगले हीरे मोती

मेरे देश की धरती

Yah Desh hai Veer Jawano ka Lyrics in Hindi)

Desh Bhakti Geet Hindi me

 

ये देश है वीर जवानों का, अलबेलों का मस्तानों का

इस देश का यारों क्या कहना, ये देश है दुनिया का गहना

 

यहाँ चौड़ी छाती वीरों की, यहाँ भोली शक्लें हीरों की

यहाँ गाते हैं राँझे मस्ती में, मचती में धूमें बस्ती में

 

पेड़ों में बहारें झूलों की, राहों में कतारें फूलों की

यहाँ हँसता है सावन बालों में, खिलती हैं कलियाँ गालों में

 

कहीं दंगल शोख जवानों के, कहीं करतब तीर कमानों के

यहाँ नित नित मेले सजते हैं, नित ढोल और ताशे बजते हैं

 

दिलबर के लिये दिलदार हैं हम, दुश्मन के लिये तलवार हैं हम

मैदां में अगर हम डट जाएं, मुश्किल है कि पीछे हट जाएं

 

Kandhon Se Milte Hain Kandhe Lyrics in Hindi)

कन्धों से कंधे मिलते है, कदमो से कदम मिलते हैं,

हम चलते हैं जब ऐसे तो ,दिल दुश्मन के हिलते हैं,

अब तो हमें आगे बढते है रहना,

अब तो हमें साथी, है बस इतना ही कहना,

अब जो भी हो, शोला बनके पत्थर है पिघलाना,

अब जो भी हो, बादल बनके परबत पर है छाना,

कन्धों से कंधे मिलते है, कदमो से कदम मिलते हैं,

हम चलते हैं जब ऐसे तो, दिल दुश्मन के हिलते हैं,

निकले हैं मैदान पर, हम जान हथेली पर लेकर,

अब देखो दम लेंगे हम, जाके अपनी मंजिल पर,

खतरों से हंसके खेलना, इतनी तो हममे हिम्मत है,

मोड़े कलाई मौत की, इतनी तो हममे ताक़त है,

हम सरहदों के वास्ते, लोहे की इक दीवार हैं,

हम दुशमन के वास्ते, होशीयार हैं तैयार हैं,

अब जो भी हो, शोला बनके पत्थर है पिघलाना,

अब जो भी हो, बादल बनके परबत पर है छाना,

कन्धों से कंधे मिलते है, कदमो से कदम मिलते हैं,

हम चलते हैं जब ऐसे तो दिल दुश्मन के हिलते हैं,

जोश दिल में जगाते चलो, जीत के गीत गाते चलो,

जोश दिल में जगाते चलो, जीत के गीत गाते चलो,

जीत की तो तस्वीर बनाने, हम निकले हैं अपने लहू से,

हम को उस में रंग भरना है,

साथी मैंने अपने दिल में अब यह ठान लिया है,

या तो अब करना है, या तो अब मरना है,

चाहे अंगारें बरसे या बर्फ गिरे,

तू अकेला नहीं होगा यारा मेरे,

कोई मुश्किल हो या हो कोई मोर्चा,

साथ हर हाल में होंगे साथी तेरे,

अब जो भी हो, शोला बनके पत्थर है पिघलाना,

अब जो भी हो, बादल बनके परबत पर है छाना,

कन्धों से कंधे मिलते है, कदमो से कदम मिलते हैं,

हम चलते हैं जब ऐसे तो दिल दुश्मन के हिलते हैं,

इक चेहरा अक्षर मुझे याद आता है,

इस दिल को चुपके चुपके वो तड़पाता है,

जब घर से कोई भी ख़त आया है,

कागज़ वो मैंने भीगा भीगा पाया है,

पलकों पलकों पर यादों के कुछ दीप जैसे जलते हैं,

कुछ सपने ऐसे हैं जो साथ साथ चलते हैं,

कोई सपना न टूटे, कोई वादा न टूटे,

तुम चाहो जिसे दिल से वो तुमसे न रूठे,

अब जो भी हो, शोला बनके पत्थर है पिघलाना,

अब जो भी हो, बादल बनके परबत पर है छाना,

कन्धों से कंधे मिलते है, कदमो से कदम मिलते हैं,

हम चलते हैं जब ऐसे तो दिल दुश्मन के हिलते हैं,

चलता है जो यह कारवां, गूंजी सी है यह वादियाँ,

है यह ज़मीन, यह आसमान,

है यह हवा, है यह समां,

हर रास्ते ने, हर वादी ने, हर परबत ने सदा दी,

हम जीतेंगे, हम जीतेंगे, हम जीतेंगे हर बाज़ी,

अब जो भी हो, शोला बनके पत्थर है पिघलाना,

अब जो भी हो, बादल बनके परबत पर है छाना,

कन्धों से कंधे मिलते है, कदमो से कदम मिलते हैं,

हम चलते हैं जब ऐसे तो दिल दुश्मन के हिलते हैं …..

 

Aaye Watan Aaye Watan Lyrics in Hindi

hindi desh bhakti geet

 

तू ना रोना, कि तू है भगत सिंह की माँ

मर के भी लाल तेरा मरेगा नहीं

डोली चढ़के तो लाते है दुल्हन सभी

हँसके हर कोई फाँसी चढ़ेगा नहीं

 

जलते भी गये कहते भी गये

आज़ादी के परवाने

जीना तो उसी का जीना है

जो मरना देश पर जाने

 

जब शहीदों की डोली उठे धूम से

देशवालों तुम आँसू बहाना नहीं

पर मनाओ जब आज़ाद भारत का दिन

उस घड़ी तुम हमें भूल जाना नहीं

 

ऐ वतन ऐ वतन हमको तेरी क़सम

तेरी राहों में जां तक लुटा जायेंगे

फूल क्या चीज़ है तेरे कदमों पे हम

भेंट अपने सरों की चढ़ा जायेंगे

ऐ वतन ऐ वतन

 

कोई पंजाब से, कोई महाराष्ट्र से

कोई यूपी से है, कोई बंगाल से

तेरी पूजा की थाली में लाये हैं हम

फूल हर रंग के, आज हर डाल से

नाम कुछ भी सही पर लगन एक है

जोत से जोत दिल की जगा जायेंगे

ऐ वतन ऐ वतन …

 

तेरी जानिब उठी जो कहर की नज़र

उस नज़र को झुका के ही दम लेंगे हम

तेरी धरती पे है जो कदम ग़ैर का

उस कदम का निशां तक मिटा देंगे हम

जो भी दीवार आयेगी अब सामने

ठोकरों से उसे हम गिरा जायेंगे

 

Ab Tumhare Hawaale Watan Saathiyo Lyrics in Hindi)

देश भक्ति गीत इन हिंदी (desh bhakti song lyrics)

 

कर चले हम फ़िदा, जान-ओ-तन साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

सांस थमती गई, नब्ज जमती गई,

फिर भी बढ़ते कदम को ना रुकने दिया

कट गये सर हमारे तो कुछ ग़म नहीं

सर हिमालय का हमने न झुकने दिया

मरते मरते रहा बाँकपन साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

जिन्दा रहने के मौसम बहुत हैं मगर

जान देने की रुत रोज आती नहीं

हुस्न और इश्क दोनो को रुसवा करे

वो जवानी जो खूँ में नहाती नहीं

बाँध लो अपने सर पर कफ़न साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

राह कुर्बानियों की ना वीरान हो

तुम सजाते ही रहना नये काफ़िले

फ़तह का जश्न इस जश्न के बाद है

जिन्दगी मौत से मिल रही है गले

आज धरती बनी है दुल्हन साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

खेंच दो अपने खूँ से जमीं पर लकीर

इस तरफ आने पाये ना रावण कोई

तोड़ दो हाथ अगर हाथ उठने लगे

छूने पाये ना सीता का दामन कोई

राम भी तुम तुम्हीं लक्ष्मण साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

 

 Mera Rang De Basanti Chola Lyrics in Hindi)

मेरा रंग दे बसंती चोला, माए रंग दे

मेरा रंग दे बसंती चोला

 

दम निकले इस देश की खातिर बस इतना अरमान है

एक बार इस राह में मरना सौ जन्मों के समान है

देख के वीरों की क़ुरबानी अपना दिल भी बोला

मेरा रंग दे बसंती चोला …

 

जिस चोले को पहन शिवाजी खेले अपनी जान पे

जिसे पहन झाँसी की रानी मिट गई अपनी आन पे

आज उसी को पहन के निकला हम मस्तों का टोला

मेरा रंग दे बसंती चोला …

 

Sarfarosi Ki Tamanna Lyrics in Hindi

देश भक्ति गीत इन हिंदी (desh bhakti song lyrics)

 

कर चले हम फ़िदा, जान-ओ-तन साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

सांस थमती गई, नब्ज जमती गई,

फिर भी बढ़ते कदम को ना रुकने दिया

कट गये सर हमारे तो कुछ ग़म नहीं

सर हिमालय का हमने न झुकने दिया

मरते मरते रहा बाँकपन साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

जिन्दा रहने के मौसम बहुत हैं मगर

जान देने की रुत रोज आती नहीं

हुस्न और इश्क दोनो को रुसवा करे

वो जवानी जो खूँ में नहाती नहीं

बाँध लो अपने सर पर कफ़न साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

राह कुर्बानियों की ना वीरान हो

तुम सजाते ही रहना नये काफ़िले

फ़तह का जश्न इस जश्न के बाद है

जिन्दगी मौत से मिल रही है गले

आज धरती बनी है दुल्हन साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

खेंच दो अपने खूँ से जमीं पर लकीर

इस तरफ आने पाये ना रावण कोई

तोड़ दो हाथ अगर हाथ उठने लगे

छूने पाये ना सीता का दामन कोई

राम भी तुम तुम्हीं लक्ष्मण साथीयों

अब तुम्हारे हवाले वतन साथीयों …

Har Karam Apna Kreng Lyrics in Hindi

Desh Bhakti Geet in Hindi

 

ऐ मुहब्बत तेरी दास्तां के लिए

मैं हूँ तैयार हर इम्तिहां के लिए

जान बुलबुल की है गुलिस्तां के लिए

ऐ मुहब्बत तेरी दास्तां के…

 

इक शोला हूँ मैं इक बिजली हूँ मैं

आग रखकर हथेली पे निकली हूँ मैं

दुश्मनों के हर एक आशियाँ के लिए

जान बुलबुल की है …

 

ये ज़माना अभी मुझको जाना नहीं

सिर कटाना है पर सिर झुकाना नहीं

मुझको मरना है अपने हिन्दुस्तां के लिए

जान बुलबुल की है …

 

हर करम अपना करेंगे -२ ऐ वतन तेरे लिए

दिल दिया है जां भी देंगे ऐ वतन तेरे लिए

 

मेरा कर्मा तू मेरा धर्मा तू

तेरा सब कुछ मैं मेरा सब कुछ तू

हर करम अपना करेंगे ऐ वतन तेरे लिए

दिल दिया है जां भी देंगे ऐ वतन तेरे लिए

 

और कोई भी कसम कोई भी वादा कुछ नहीं

एक बस तेरी मोहब्बत से ज्यादा कुछ नहीं कुछ नहीं

हम जियेंगे और मरेंगे ऐ सनम तेरे लिए

 

सबसे पहले तू है तेरे बाद हर एक नाम है

तू मेरा आग़ाज़ था तू ही मेरा अन्जाम है अन्जाम है

हम जिऐंगे और मरेंगे ऐ सनम तेरे लिए

दिल दिया है जां भी …

 

मेरा कर्मा तू मेरा धर्मा तू

तेरा सब कुछ मैं मेरा सब कुछ तू

 

हर करम अपना करेंगे -२ ऐ वतन तेरे लिए

दिल दिया है जां भी देंगे ऐ वतन तेरे लिए

 

तू मेरा कर्मा तू मेरा धर्मा तू मेरा अभिमान है

ऐ वतन महबूब मेरे तुझपे दिल क़ुर्बान है

हम जिऐंगे या मरेंगे ऐ वतन तेरे लिए

दिल दिया है जां भी देंगे …

 

हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई हमवतन हमनाम हैं

जो करे इनको जुदा मज़हब नहीं इल्जाम है

हम जिऐंगे या मरेंगे …

 

तेरी गलियों में चलाकर नफ़रतों की गोलियां

लूटते हैं सब लुटेरे दुल्हनों की डोलियां

लुट रहा है आंप वो अपने घरों को लूट कर

खेलते हैं बेखबर अपने लहू से होलीयां

हम जिऐंगे या मरेंगे …

 

Hai Preet Jahaa Ki Reet Sadaa Lyrics in Hindi

Desh Bhakti Geet in Hindi

 

जब ज़ीरो दिया मेरे भारत ने, दुनिया को तब गिनती आई

तारों की भाषा भारत ने, दुनिया को पहले सिखलाई

देता ना दशमलव भारत तो, यूँ चाँद पे जाना मुश्किल था

धरती और चाँद की दूरी का, अंदाज़ लगाना मुश्किल था

सभ्यता जहाँ पहले आई, पहले जनमी है जहाँ पे कला

अपना भारत वो भारत है, जिसके पीछे संसार चला

संसार चला और आगे बढ़ा, ज्यूँ आगे बढ़ा, बढ़ता ही गया

भगवान करे ये और बढ़े, बढ़ता ही रहे और फूले-फले

है प्रीत जहाँ की रीत सदा, मैं गीत वहाँ के गाता हूँ

भारत का रहने वाला हूँ, भारत की बात सुनाता हूँ

काले-गोरे का भेद नहीं, हर दिल से हमारा नाता है

कुछ और न आता हो हमको, हमें प्यार निभाना आता है

जिसे मान चुकी सारी दुनिया, मैं बात वही दोहराता हूँ

भारत का रहने वाला हूँ, भारत की बात सुनाता हूँ

जीते हो किसीने देश तो क्या, हमने तो दिलों को जीता है

जहाँ राम अभी तक है नर में, नारी में अभी तक सीता है

इतने पावन हैं लोग जहाँ, मैं नित-नित शीश झुकाता हूँ

भारत का रहने वाला हूँ, भारत की बात सुनाता हूँ

इतनी ममता नदियों को भी, जहाँ माता कहके बुलाते है

इतना आदर इन्सान तो क्या, पत्थर भी पूजे जातें है

उस धरती पे मैंने जन्म लिया, ये सोच के मैं इतराता हूँ

भारत का रहने वाला हूँ, भारत की बात सुनाता हूँ

Aisa Desh Hai Mera Lyrics in Hindi

Desh Bhakti Group Song Lyrics

अंबर हेठाँ धरती वसदी, एथे हर रुत हँसदी

किन्ना सोणा देस है मेरा.

 

धरती सुनहरी अंबर नीला,

हर मौसम रंगीला,

ऐसा देस है मेरा,

बोले पपीहा कोयल गाये,

सावन घिर घिर आये

ऐसा देस है मेरा,

 

धरती सुनहरी अंबर नीला,

हर मौसम रंगीला,

ऐसा देस है मेरा,

बोले पपीहा कोयल गाये,

सावन घिर घिर आये

ऐसा देस है मेरा,

 

गेंहू के खेतों में कंघी जो करे हवाएं,

रंग बिरंगी कितनी चुनरियाँ उड़-उड़ जाएं,

पनघट पर पनहारन जब गगरी भरने आये,

मधुर-मधुर तानों में कहीं बंसी कोई बजाए, लो सुन लो,

क़दम-क़दम पे है मिल जानी कोई प्रेम कहानी,

 

ऐसा देस है मेरा…

 

बाप के कंधे चढ़ के जहाँ बच्चे देखे मेले,

मेलों में नट के तमाशे, कुल्फ़ी के चाट के ठेले,

कहीं मिलती मीठी गोली, कहीं चूरन की है पुड़िया,

भोले-भोले बच्चे हैं, जैसे गुड्डे और गुड़िया,

और इनको रोज़ सुनाये दादी नानी इक परियों की कहानी,

 

ऐसा देस है मेरा…

 

मेरे देस में मेहमानों को भगवान कहा जाता है,

वो यहीं का हो जाता है, जो कहीं से भी आता है,

तेरे देस को मैंने देखा तेरे देस को मैंने जाना,

जाने क्यूँ ये लगता है मुझको जाना पहचाना,

यहाँ भी वही शाम है वही सवेरा,

 

ऐसा ही देस है मेरा जैसा देस है तेरा…

 Badhte Chalo Javano Lyrics in Hindi

Desh Bhakti Geet in Hindi

 

बढ़ते चलो, बढ़ते चलो, बढ़ते चलो जवानो।

ऎ देश के सपूतो! मज़दूर और किसानो।।

है रास्ता भी रौशन और सामने है मंज़िल।

हिम्मत से काम लो तुम आसान होगी मुश्किल।।

कर के उसे दिखा दो, जो अपने दिल में ठानो।

बढ़ते चलो, बढ़ते चलो, बढ़ते चलो जवानो।।

भूखे महाजनों ने, ले रखे हैं इजारे।

जिनके सितम से लाखों फिरते हैं मारे-मारे।।

हैं देश के ये दुश्मन! इनको न दोस्त जानो।

बढ़ते चलो, बढ़ते चलो, बढ़ते चलो जवानो।।

Yah jo Desh hai Tera Lyrics in Hindi

देश भक्ति गीत इन हिंदी (desh bhakti par geet)

 

यह जो देस है तेरा, स्वदेस है तेरा,

तुझे है पुकारा, यह वो बंधन है जो,

कभी टूट नहीं सकता ….

 

मिट्टी की है जो खुश्बू, तू कैसे भूलाएगा,

तू चाहे कही जाए, लौट के आएगा,

नयी नयी राहों में, दबी दबी आहों में,

खोये खोये दिल से तेरे, कोई यह कहेगा,

 

यह जो देस है तेरा, स्वदेस है तेरा,

तुझे है पुकारा, यह वो बंधन है जो,

कभी टूट नहीं सकता ….

 

तुझसे जिंदगी यह कह रही,

सब तो पा लिया अब है क्या कमी,

यूंह तो सारे सुख है बरसे,

पर दूर तू है अपने घर से,

आ लौट चल अब तू दीवाने,

जहाँ कोई तो तुझे अपना माने,

आवाज़ दे तुझे बुलाये वही देस,

 

यह जो देस है तेरा, स्वदेस है तेरा

तुझे है पुकारा, यह वो बंधन है जो

कभी टूट नहीं सकता ………….

 

यह पल है वही, जिसमें है छुपी,

कोई एक शादी, सारी जिंदगी,

तू न पूछ रास्ते में काहे, आयें हैं इस तरह दो राहे,

तू ही तो है अब तो जो यह बताये,

चाहे तो किस दिशा में जाए वो देस,

 

यह जो देस है तेरा, स्वदेस है तेरा

तुझे है पुकारा, यह वो बंधन है जो

कभी टूट नहीं सकता …………

 

 Mere Dushman Mere Bhai Lyrics in Hindi

देशभक्ति गीत इन हिंदी (Hindi Desh Bhakti Song)

 

जंग तो चंद रोज होती है, जिन्दगी बरसों तलक रोती है

 

बारूद से बोझल सारी फिज़ा, है मोत की बू फैलाती हवा

जख्मों पे है छाई लाचारी, गलियों में है फिरती बीमारी

ये मरते बच्चे हाथों में, ये माओं का रोना रातों में

मुर्दा बस्ती मुर्दा है नगर, चेहरे पत्थर हैं दिल पत्थर

मेरे दुश्मन, मेरे भाई, मेरे हमसाये

मुझे से तुझ से, हम दोनों से, सुन ये पत्थर कुछ कहते हैं

बर्बादी के सारे मंजर कुछ कहते हैं

मेरे दुश्मन, मेरे भाई, मेरे हमसाये

 

सन्नाटे की गहरी छाँव, ख़ामोशी से जलते गाँव

ये नदियों पर टूटे हुए पुल, धरती घायल और व्याकुल

ये खेत ग़मों से झुलसे हुए, ये खाली रस्ते सहमे हुए

ये मातम करता सारा समां, ये जलते घर ये काला धुआं

मेरे दुश्मन, मेरे भाई, मेरे हमसाये

मुझे से तुझ से, हम दोनों से ये जलते घर कुछ कहते हैं

बर्बादी के सारे मंजर कुछ कहते हैं

मेरे दुश्मन, मेरे भाई, मेरे हमसाए

 

मेरे दुश्मन, मेरे भाई, मेरे हमसाये

चेहरों के, दिलों के ये पत्थर, ये जलते घर

बर्बादी के सारे मंजर, सब तेरे नगर सब मेरे नगर, ये कहते हैं

इस सरहद पर फुन्कारेगा कब तक नफरत का ये अजगर

हम अपने अपने खेतो में, गेहूँ की जगह चावल की जगह

ये बन्दूके क्यों बोते हैं

जब दोनों ही की गलियों में, कुछ भूखे बच्चे रोते हैं

आ खाएं कसम अब जंग नहीं होने पाए

ओर उस दिन का रस्ता देंखें,

जब खिल उठे तेरा भी चमन, जब खिल उठे मेरा भी चमन

तेरा भी वतन मेरा भी वतन, मेरा भी वतन तेरा भी वतन

मेरे दोस्त, मेरे भाई, मेरे हमसाये

 

ओ, देस मेरे, तेरी शान पे सदके

ओ, देस मेरे, तेरी शान पे सदके

कोई धन है क्या तेरी धूल से बढ़ के?

तेरी धूप से रोशन, तेरी हवा पे ज़िंदा

तू बाग़ है मेरा, मैं तेरा परिंदा

 

है अर्ज़ ये दीवाने की, जहाँ भोर सुहानी देखी

एक रोज़ वहीं मेरी शाम हो

कभी याद करे जो ज़माना, माटी पे मर-मिट जाना

ज़िक्र में शामिल मेरा नाम हो

 

ओ, देस मेरे, तेरी शान पे सदके

कोई धन है क्या तेरी धूल से बढ़ के?

तेरी धूप से रोशन, तेरी हवा पे ज़िंदा

तू बाग़ है मेरा, मैं तेरा परिंदा

 

आँचल तेरा रहे, माँ, रंग-बिरंगा, ओ-ओ

ऊँचा आसमाँ से हो तेरा तिरंगा

 

जीने की इजाज़त दे-दे या हुक्म-ए-शहादत दे-दे

मंज़ूर हमें जो भी तू चुने

रेशम का हो मधुशाला या कफ़न सिपाही वाला

ओढ़ेंगे हम जो भी तू बुने

 

ओ, देस मेरे, तेरी शान पे सदके

कोई धन है क्या तेरी धूल से बढ़ के?

तेरी धूप से रोशन, तेरी हवा पे ज़िंदा

तू बाग़ है मेरा, मैं तेरा परिंदा

 

 तेरी मिट्टी में मिल जावां

तलवारों पे सर वार दिए

अंगारों में जिस्म जलाया है

तब जाके कहीं हमने सर पे

ये केसरी रंग सजाया है

ऐ मेरी जमीं अफसोस नहीं

जो तेरे लिए सौ दर्द सहे

महफूज रहे तेरी आन सदा

चाहे जान ये मेरी रहे न रहे

हाँ मेरी जमीं महबूब मेरी

मेरी नस नस में तेरा इश्क बहे

फीका ना पड़े कभी रंग तेरा

जिस्म से निकल के खून कहे

तेरी मिट्टी में मिल जावां

गुल बनके मैं खिल जावां

इतनी सी है दिल की आरजू

तेरी नदियों में बह जावां

तेरे खेतों में लहरावां

इतनी सी है दिल की आरजू

ओ.. ओ.. ओओओ.

सरसों से भरे खलिहान मेरे

जहाँ झूम के भांगड़ा पा न सका

आबाद रहे वो गाँव मेरा

जहाँ लौट के वापस जा न सका

ओ वतना वे मेरे वतना वे

तेरा मेरा प्यार निराला था

कुर्बान हुआ तेरी अस्मत पे

मैं कितना नसीबों वाला था

तेरी मिट्टी में मिल जावां

गुल बनके मैं खिल जावां

इतनी सी है दिल की आरजू

तेरी नदियों में बह जावां

तेरे खेतों में लहरावां

इतनी सी है दिल की आरजू

ओ हीर मेरी तू हंसती रहे

तेरी आँख घड़ी भर नम ना हो

मैं मरता था जिस मुखड़े पे

कभी उसका उजाला कम ना हो

ओ माई मेरे क्या फिकर तुझे

क्यूँ आँख से दरिया बहता है

तू कहती थी तेरा चाँद हूँ मैं

और चाँद हमेशा रहता है

तेरी मिट्टी में मिल जावां

गुल बनके मैं खिल जावां

इतनी सी है दिल की आरजू

तेरी नदियों में बह जावां

तेरे फसलों में लहरावां

इतनी सी है दिल की आरजू

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